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सीएम नीतीश का ऐलान....जरूरत पड़ी तो 10 लाख की सीमा को पार...नोजवानो को देगे नॉकरी

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सीएम नीतीश का ऐलान....जरूरत पड़ी तो 10 लाख की सीमा को पार...नोजवानो को देगे नॉकरी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने गांधी मैदान में दूसरे चरण में पीएसीए को मंजूरी दी। शमाशि पर डिप्टी सीएम यादव समेत अन्य मंत्री मौजूद रहे। सभा को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि लगभग 5 लाख लोगों को रोजगार दे दिया गया है। अभी बहुत बहाली हुई है. जरूरत है तो 10 लाख से ज्यादा प्रेमियों की बहाली। हम लोग दुष्प्रचार नहीं करते। सीएम नीतीश ने कहा कि  बिहार में लगातार बहाली हो रही है. दूसरे चरण में 96000 से अधिक ईंटो की मरम्मत हुई है। अभी और कुछ बचा हुआ है. उसकी भी रिकवरी जल्द होगी

बच्चे और पढ़ाई की पढ़ाई बेहतर ढंग से हो इसलिए ग्रेड की बहाली की जा रही है। दूसरे राज्य के लोगों को भी शिक्षक की नौकरी मिलती है। हमने पहले भी कहा था कि बिहार से बाहर के लोगों की भी बहाली होगी. तब कुछ लोगों ने इसका विरोध किया था. नीतीश कुमार ने पूछा कि क्या बिहार के लोगों की बहाली दूसरे राज्यों में नहीं है? तो फिर अन्य राज्यों के लोगों की यहां बहाली नहीं होगी? राजस्थान, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, बंगाल, कर्नाटक, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, उत्तराखंड, दिल्ली और चंडीगढ़ के लोग यहां आए हैं। जो लोग बाहर से यहां आए हैं उनका भी मैं स्वागत करता हूं। आप सभी लोग बहुत मेहनत करेंगे।
उन्होंने कहा कि पहले लगभग 3 लाख 68 हजार इंस्टालेशन की स्थापना हुई थी। अब हमने घोषणा की है कि यह सभी सरकारी कर्मचारी होंगे। बहुत जल्द ही शिक्षक सरकारी शैक्षणिक संस्थान।

इसके लिए हम अलग-अलग बिजनेसमैन की परीक्षा लेंगे। तीन बार परीक्षण इसमें शामिल है एक जाने के बाद वे सरकारी नौकरी की तरह हो जायेंगे। बहुत जल्दी हम लोग एग्जामिनेशन खरीदते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि हम लोगों ने कहा था कि 10 लाख सरकारी नौकरी और 10 लाख रोजगार कम हो जाएंगे। लगभग 5 लाख रिस्टोर का काम पूरा होने वाला है और लगभग 5 लाख लोगों को रोजगार भी दे दिया गया है। हम लोग बाकी भी पूरा करेंगे। जरूरत है तो और ज्यादा रीस्टोर करने की, 10 लाख से ज्यादा. हम लोग दुष्प्रचार नहीं करते। मीडिया की ओर इशारा करते हुए नीतीश कुमार ने कहा कि आप लोग वोट नहीं देते, आप भी चाहते हैं तो लिखिए ।

लेकिन हमारी फिल्मों को याद रखियेगा। उन्होंने कहा कि 2005 तक 12.5 प्रतिशत बच्चे स्कूल से बाहर थे। लेकिन अब काम पूरा हो गया है,टोला सेवकों और तालिमी मरकज़ को हमारे पास रखा गया था। इसका फ़ायदा मिला और छूट मिली बच्चे स्कूल पहुँच गए। अब हम भी असैनिटैल की तरह पैसे दे रहे हैं। हमलोग यह भी आशा करते हैं कि वे भी स्केन में जाएँ। ........ रीता सिंह

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